
आधुनिकीकरण के इस दौर में वर्तमान समय तथ्य – आधारित है परंतु यह भी सत्य है कि आस्था और तथ्य दो अलग – अलग बातें हैं. विज्ञान की भाषा में प्रकृति का आधार ऊर्जा है तो आस्था का आधार भाव है. आस्था की धुरी का केन्द्रबिन्दु इस भाव पर टिका है कि प्रकृति में एक सर्वशक्तिमान शक्ति है जो प्रकृति की नियंता है, उसे ही भगवान की संज्ञा दी जाती है. भारतीय चिंतन के अनुसार व्यक्ति जिस भाव से भगवान के प्रति अपनी आस्था प्रकट करता है, उसी अनुरूप उसे भगवान का...